सेंधवा कॉलेज में भारतीय संविधान व रोजगार संकल्पना पर व्याख्यान का आयोजन
सेंधवा। शासकीय महाविद्यालय सेंधवा में स्वामी विवेकानंद कैरियर मार्गदर्शन प्रकोष्ठ द्वारा भारतीय संविधान व रोजगार संकल्पना पर विशेष व्याख्यान का आयोजन किया गया। कार्यक्रम में मुख्य वक्ता प्रोफेसर वीरेंद्र मुवेल द्वारा भारतीय संविधान के महत्व पर प्रकाश डालते हुए भारतीय संविधान में रोजगार के संबंध में दिए गए विभिन्न अनुच्छेदों की व्याख्या की गई उन्होंने कहा कि भारतीय संविधान के अनुच्छेद 19 में स्वतंत्रता का अधिकार दिया गया है जिसमें भारत के प्रत्येक नागरिक को कोई भी व्यवसाय करने की स्वतंत्रता दी गई है। अनुच्छेद 16 के अंतर्गत रोजगार में अवसर की समानता प्रदान की गई है राज्य किसी भी व्यक्ति से जाति धर्म वंश जन्म स्थान या अन्य किसी आधार पर भेदभाव नहीं करेगा। अनुच्छेद 51 क में भारतीय नागरिक को वैज्ञानिक सोच रखने और सुधार करने का कर्तव्य बताया गया है। सामाजिक रूप से पिछड़े वर्गों की स्थिति सुधारने हेतु अनुच्छेद 341 और 342 में संवैधानिक आरक्षण के प्रावधान किए गए हैं।
इस अवसर पर प्रो.जितेश्वर खरते ने भारतीय संविधान लागू होने की पूर्व की स्थितियों को बताया उन्होंने कहा कि संविधान सभा की ड्राफ्टिंग कमेटी के अध्यक्ष डॉ बी आर अंबेडकर द्वारा किए गए अथक परिश्रम का परिणाम भारतीय संविधान है जिसमें डॉक्टर अंबेडकर की समाज सुधार की भावना के दर्शन होते हैं। स्वामी विवेकानंद कैरियर मार्गदर्शन प्रकोष्ठ प्रभारी प्रो दीपक मरमट ने विद्यार्थियों से कहा कि विद्यार्थी जितना संविधान का अध्ययन करेंगे उतना ही समाज सुधार की भावना उनमें मजबूत होगी, कैरियर निर्माण के लिए किसी भी प्रतियोगी परीक्षा मे सफलता पाने हेतु संविधान का अध्ययन करना आवश्यक है। इस अवसर पर विद्यार्थियों ने भी अपनी सहभागिता की छात्र बबलू वास्कले, रोशनी सोलंकी, नवीन जाधव, शिवानी राठौर इत्यादि ने हर्ष व्यक्त किया।