शाही सांई भंडारे में आए दूर-दूर के भक्त, दिन भर में16 हजार भक्तों ने भजनों के बीच ग्रहण किया भोजन

चंद्रग्रहण के कारण समापन अब 28 के बजाय 27 को – आज पूरे दिन खुला रहेगा भंडारा
इंदौर। एबी रोड स्थित बिच्छूदास के बगीचे पर गत 24 अक्टूबर से चल रहे शाही साईं भंडारे में अब दूर-दूर के श्रद्धालु भी पहुंच रहे हैं । आज महाराष्ट्र के अकोला, नासिक एवं अहमदनगर सहित अनेक जिलों के 300 से अधिक श्रद्धालुओं ने नुक्ती-भजिए के साथ भोजन प्रसादी ग्रहण करने के साथ अपनी सेवाएं भी दी और भजन भी सुनाए। आज दिनभर में 16 हजार से अधिक श्रद्धालुओं ने प्रसादी ग्रहण की। आज भक्तों को बालूशाही, नुक्ती, खिचड़ा, कड़ी-बेसन, सब्जी, ज्वार-बाजरे की रोटी, तंदूर की रोटी एवं तवा रोटी की परोसगारी की गई।
आयोजन समिति के प्रमुख साईंराम कसेरा, हेमंत मित्तल, प्रवीण कसेरा, पंडित गोविंद शर्मा ने बताया कि साईं बाबा के 105वें समाधि दिवस के उपलक्ष्य में आयोजित इस भंडारे में भक्तों को पूडी के साथ-साथ रोटियां भी परोसी जा रही है। आयोजन समिति के सदस्य संजय कसेरा, सत्यनारायण पाटीदार एवं उमा आचार्य के सहयोग से रजवाड़ी बैठक व्यवस्था के साथ बुजुर्गों के लिए टेबल-कुर्सी रखी गई है। दोपहर ढाई बजे से शुरू हुआ भोजन भंडारे का क्रम रात 10 बजे तक चला। आचार संहिता के कारण इस बार रात 10 बजे भंडारे का विराम करना पड़ रहा है। गत वर्ष रात 11-12 बजे तक भंडारा खुला रहता था। हर 4 घंटे में मैन्यू बदलने से अनेक भक्त दो या तीन बार भोजन प्रसादी लेने पहुंच रहे हैं। आसपास के गांवों-कस्बों से निजी वाहन और ट्रैक्टर ट्राली में आने वाले भक्त अपने साथ गेहूं, चावल, शक्कर, तेल, सब्जियां और मसाले भी लेकर आ रहे हैं। भोजन के साथ साईं पारायण और भजनों का क्रम पहले दिन से ही जारी है। बड़ी संख्या में महिलाएं भी परोसगारी और अन्य व्यवस्थाएं संभाल रही हैं। भंडारे का समापन पहले 28 अक्टूबर को प्रस्तावित था, लेकिन चंद्रग्रहण होने के कारण अब शुक्रवार, 27 अक्टूबर को रात 10 बजे समापन होगा।