दान से ही पुण्य का लाभ मिलता है – आदित्य सागर
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इन्दौर । दान में कंजूसी नहीं उदारता का भाव होना जरूरी है। तन, मन और धन की उदारता हमेशा जीवन में रखना चाहिए। उदारता से किया गया दान आपके धन को बढ़ाता है। उक्त विचार 60 फीट रोड़ एरोड्रम क्षेत्र में आयोजित पंचकल्याणक महोत्सव के द्वितीय दिवस पर दिगंबर जैन आचार्य आदित्य सागर जी महाराज ने सभी श्रावक-श्राविकाों को रविवार को जन्म कल्याणक महोत्सव के अवसर पर संबोधित करते हुए व्यक्त किए। उन्होंने सभी श्रावक-श्राविकाओं को दान का महत्व बताते हुए कहा कि मनुष्य को अपनी शक्ति से अधिक और अपनी सामर्थ से कम दान कभी नहीं करना चाहिए। क्योंकि दान करने से ही पुण्य का लाभ मिलता है।
श्री दिगम्बर जैन अम्बिकापुरी परमहंस नगर धार्मिक न्यास प्रचार संयोजक डॉ. अभिषेक सेठी ने बताया कि रविवार को पंचकल्याणक महोत्सव में जन्म कल्याणक महोत्सव मनाया गया। जन्माभिषेक का भव्य मंगल जुलूस निकाला गया। पांडाल में पांडुक शिला तक पाण्डुक शिला पर तीर्थकर बालक का भव्य जन्माभिषेक हुआ। रविवार को आयोजित जन्मकल्याणक महोत्सव में हजारों की संख्या में समाज बंधु उपस्थित हुए थे।